
ज्योतिष इंद्रमोहन डंडरियाल

? *~ वैदिक पंचांग ~* ?
?️ *दिनांक – 01 अप्रैल 2025*
?️ *दिन – मंगलवार*
?️ *विक्रम संवत – 2082 (गुजरात अनुसार 2081)*
?️ *शक संवत -1947*
?️ *अयन – उत्तरायण*
?️ *ऋतु – वसंत ॠतु*
?️ *अमांत -19 गते चैत्र मास प्रविष्टि*
?️ *राष्ट्रीय तिथि – 11 चैत्र मास*
?️ *मास – चैत्र*
?️ *पक्ष – शुक्ल*
?️ *तिथि – चतुर्थी 02 अप्रैल रात्रि 02:32 तक तत्पश्चात पंचमी*
?️ *नक्षत्र – भरणी सुबह 11:06 तक तत्पश्चात कृत्तिका*
?️ *योग – विष्कंभ सुबह 09:48 तक तत्पश्चात प्रीति*
?️ *राहुकाल – शाम 03:26 से शाम 04:59 तक*
?️ *सूर्योदय – 06:07*
?️ *सूर्यास्त – 06:36*
? *दिशाशूल – उत्तर दिशा मे*
? *व्रत पर्व विवरण- विनायक चतुर्थी,मंगलवारी चतुर्थी (सूर्योदय से रात्रि 02:32 तक)*
? *विशेष- चतुर्थी को मूली खाने से धन का नाश होता है। (ब्रह्मवैवर्त पुराण, ब्रह्म खंडः 27.29-34)*
? *~ वैदिक पंचांग ~* ?
? *नवरात्रि की पंचमी तिथि* ?
?? *02 अप्रैल 2025 बुधवार को चैत्र – शुक्ल पक्ष की पंचमी की बड़ी महिमा है | इसको श्री पंचमी भी कहते है | संपत्ति वर्धक है |*
?? *इन दिनों में लक्ष्मी पूजा की भी महिमा है | ह्रदय में भक्तिरूपी श्री आये इसलिए ये उपासाना करें | इस पंचमी के दिन हमारी श्री बढ़े, हमारी गुरु के प्रति भक्तिरूपी श्री बढ़े | उसके लिए भी व्रत, उपासाना आदि करना चाहिए | पंचमं स्कंध मातेति | स्कंध माता कार्तिक स्वामी की माँ पार्वतीजी …. उस दिन मंत्र बोलो – ॐ श्री लक्ष्मीये नम: |*
? *~ वैदिक पंचांग ~*?
? *चैत्र नवरात्रि* ?
?? *नवरात्र की पंचमी तिथि यानी पांचवे दिन माता दुर्गा को केले का भोग लगाएं ।इससे परिवार में सुख-शांति रहती है ।*
? *~ वैदिक पंचांग ~* ?
? *चैत्र नवरात्रि* ?
?? *स्कंदमाता की पूजा से मिलती है शांति व सुख*
*नवरात्रि के पांचवें दिन स्कंदमाता की पूजा की जाती है। स्कंदमाता भक्तों को सुख-शांति प्रदान करने वाली हैं। देवासुर संग्राम के सेनापति भगवान स्कंद की माता होने के कारण मां दुर्गा के पांचवे स्वरूप को स्कंदमाता के नाम से जानते हैं। स्कंदमाता हमें सिखाती हैं कि जीवन स्वयं ही अच्छे-बुरे के बीच एक देवासुर संग्राम है व हम स्वयं अपने सेनापति हैं। हमें सैन्य संचालन की शक्ति मिलती रहे। इसलिए स्कंदमाता की पूजा करनी चाहिए। इस दिन साधक का मन विशुद्ध चक्र में अवस्थित होना चाहिए, जिससे कि ध्यान वृत्ति एकाग्र हो सके। यह शक्ति परम शांति व सुख का अनुभव कराती हैं।*
? *~ वैदिक पंचांग ~* ?
?*आर्थिक परेशानी हो तो* ?
?? *स्कंद पुराण में लिखा है पौष मास की शुक्ल पक्ष की दसमी तिथि चैत्र मास की शुक्ल पक्ष की पंचमी (02 अप्रैल 2025 बुधवार) और सावन महीने की पूनम ये दिन लक्ष्मी पूजा के खास बताये गये हैं | इन दिनों में अगर कोई आर्थिक कष्ट से जूझ रहा है | पैसों की बहुत तंगी है घर में तो 12 मंत्र लक्ष्मी माता के बोलकर, शांत बैठकर मानसिक पूजा करे और उनको नमन करें तो उसको भगवती लक्ष्मी प्राप्त होती है, लाभ होता है, घर में लक्ष्मी स्थायी हो जाती हैं | उसके घर से आर्थिक समस्याए धीरे धीरे किनारा करती है | बारह मंत्र इसप्रकार हैं –*
? *ॐ ऐश्वर्यै नम:*
? *ॐ कमलायै नम:*
? *ॐ लक्ष्मयै नम:*
? *ॐ चलायै नम:*
? *ॐ भुत्यै नम:*
? *ॐ हरिप्रियायै नम:*
? *ॐ पद्मायै नम:*
? *ॐ पद्माल्यायै नम:*
? *ॐ संपत्यै नम:*
? *ॐ ऊच्चयै नम:*
? *ॐ श्रीयै नम:*
? *ॐ पद्मधारिन्यै नम:*
?? *सिद्धिबुद्धिप्रदे देवि भुक्तिमुक्ति प्रदायिनि | मंत्रपूर्ते सदा देवि महालक्ष्मी नमोस्तुते ||*
?? *द्वादश एतानि नामानि लक्ष्मी संपूज्यय पठेत | स्थिरा लक्ष्मीर्भवेतस्य पुत्रदाराबिभिस: ||*
?? *उसके घर में लक्ष्मी स्थिर हो जाती है | जो इन बारह नामों को इन दिनों में पठन करें |*
? *विशेष ~ 02 अप्रैल 2025 बुधवार को चैत्र मास के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि है ।*??
? *~ वैदिक पंचांग ~* ?अप्रैल 2025 पंचक
23 अप्रैल (बुधवार) रात 12:31 बजे से शुरू होकर 27 अप्रैल (रविवार) को सुबह 03:39 बजे तक रहेगा.
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