– विचार धारा में बंटना ही पत्रकारिता का संकट: निशीथ जोशी
– पत्रकारिता दिवस के उपलक्ष में उत्तराखंड पत्रकार यूनियन का सम्मेलन
पहाड़ का सच देहरादून।
उत्तराखंड पत्रकार यूनियन की देहरादून इकाई का हिंदी पत्रकारिता दिवस के उपलक्ष में समारोह में पत्रकारिता को धारदार बनाने का संकल्प लिया गया।
उत्तरांचल प्रेस क्लब में आयोजित कार्यक्रम में वरिष्ठ पत्रकार जय सिंह रावत और गंगा असनोड़ा थपलियाल को सम्मानित किया गया। डीएवी (पीजी)कालेज में पत्रकारिता विभाग के डा. विमलेश डिमरी और डा. जितेंद्र को भी सम्मानित किया गया। वरिष्ठ पत्रकार निशीथ जोशी, डा. देवेंद्र भसीन व दून यूनिवर्सिटी की कुलपति डा. सुरेखा डंगवाल को स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया गया।
मुख्य अतिथि दून विश्वविद्यालय की कुलपति डा. सुरेखा डंगवाल ने कहा कि वर्तमान में पत्रकारिता को वैश्वीकरण और टेक्नोलॉजी के आंधी-तूफान का सामना करना पड़ रहा है। शिक्षा व पत्रकारिता जगत अर्थतंत्र में फंस चुके हैं। अजेय रहने वाली पत्रकारिता को बचाना हम सभी की जिम्मेदारी है। यह परा सत्य (पोस्ट ट्रुथ)दौर है। इसमें सच और झूठ के बीच अंतर करना आसान काम नहीं है। उन्होंने कहा कि लोकतंत्र के चौथे स्तंभ को स्वायत्त बनाना और इसको जिंदा रखना बड़ी चुनौती है। शिक्षा जगत भी अंधड़ के इस दौर में बहुत दबाब में है। विश्वविद्यालयों पर खुद कमाई करने का दबाब है।
मुख्य वक्ता वरिष्ठ पत्रकार निशीथ जोशी ने कहा कि पत्रकारिता में लगातार बदलाव जारी है। बदलाव के दोनों ही आयाम हैं। पेशेवर पत्रकारों को भी मीडिया के आर्थिक पक्ष को देखना ही पड़ेगा। इस दबाब में पत्रकारों को खुद को साबित करना होगा। उन्होंने कहा कि पत्रकारिता में जहां एक ओर विश्वसनीयता घटी है वहीं इसमें इजाफा भी हुआ है। उन्होंने कहा कि हमें पत्रकारिता और पत्रकारों के स्तर का भी श्रेणीकरण करते रहना होगा। व्यवसायिकता के दबाब में मूल्यों को कायम रखना आसान नहीं है। बाजार, सरकारों का दबाव बढ़ने ही वाला है। उन्होंने कहा कि संपादकों को दोहरे मापदंड से बचना चाहिए। मातहतों पर अनावश्यक प्रेशर बनाना हर लिहाज से गलत है। पत्रकारिता में सबसे बड़ा संकट पत्रकारों का विचारधारा के आधार पर बंट जाना भी है।
डा. देवेंद्र भसीन ने कहा कि इस समय पत्रकारिता का स्वरूप बदल गया है। मंथन करने पर समाधान होगा। वरिष्ठ पत्रकार जय सिंह रावत ने कहा कि पत्रकारों को उपभोक्तावादी संस्कृति से बचना होगा। उत्तराखंड में पत्रकारिता की समृद्ध विरासत है।
उत्तराखंड पत्रकार यूनियन के प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र कंडारी ने कहा कि निश्चित तौर पर पत्रकारों के सामने आज कई चुनौती हैं। इन चुनौतियों का सामना करते हुए हमें अपने कार्य में शुचिता बनाए रखनी है। प्रेस क्लब के अध्यक्ष अजय सिंह राणा ने कहा कि जनसरोकार वाली पत्रकारिता को बचाना होगा। गंगा असनोड़ा थपलियाल ने कहा कि साहस की बदौलत पत्रकारिता विजयी होगी।कार्यक्रम का संचालन यूनियन के महामंत्री हरीश जोशी व जिलाध्यक्ष अनिल चंदोला ने संयुक्त रूप से किया।
इस मौके पर उत्तराखंड पत्रकार यूनियन के पूर्व महामंत्री गिरिधर शर्मा, प्रदेश के प्रचार मंत्री शूरवीर सिंह भंडारी, सचिव सुशील रावत, संगठन मंत्री तिलकराज, गढ़वाल मंडल प्रभारी संजय किमोठी, जिला देहरादून इकाई के कोषाध्यक्ष राजेश बड़थ्वाल, महामंत्री योगेश रतूड़ी, प्रेस क्लब के महामंत्री विकास गुंसाई, जिला इकाई के वरिष्ठ उपाध्यक्ष इंद्रदेव रतूड़ी, संगठन मंत्री मीना नेगी, दरबान सिंह, उपाध्यक्ष केएस बिष्ट, प्रचार मंत्री मंगेश कुमार, सांस्कृतिक सचिव किशोर रावत आदि उपस्थित थे।