
– कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे के बयान पर संघ का जवाब

पहाड़ का सच/एजेंसी।
जबलपुर। आरएसएस के सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबाले ने शनिवार को कहा कि संगठन पर सिर्फ इसलिए प्रतिबंध नहीं लगाया जा सकता क्योंकि कोई ऐसा चाहता है, साथ ही कहा कि ऐसी मांग करने वालों को अतीत से सीखना चाहिए। होसबाले ने यह बात यहां आयोजित आरएसएस की तीन दिवसीय अखिल भारतीय कार्यकारी बैठक के समापन के बाद पत्रकारों से बात करते हुए कही। वह कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे के उस बयान पर जवाब दे रहे थे जिसमें उन्होंने कहा था कि संघ को प्रतिबंधित कर देना चाहिए।
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होसबाले ने कहा, ‘पहले भी तीन बार ऐसी कोशिशें की गई हैं, तब समाज ने क्या कहा था? अदालत ने क्या कहा था? इन सबके बावजूद संघ का काम बढ़ता रहा। प्रतिबंध लगाने के लिए वैध कारण होने चाहिए।’ आगे उन्होंने कहा, ‘यह सिर्फ इसलिए नहीं हो सकता क्योंकि कोई ऐसा चाहता है। भारत की एकता, सुरक्षा और संस्कृति के लिए काम करने वाले संगठन को कोई नेता कहता है कि प्रतिबंधित कर देना चाहिए, तो उसे इसका कारण भी बताना चाहिए।’
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संघ नेता ने कहा कि समाज ने आरएसएस को स्वीकार कर लिया है, और सरकारी व्यवस्था ने भी फैसला सुनाया है कि उस पर लगे ऐसे प्रतिबंध गलत थे। उन्होंने कहा, ‘जो लोग अब प्रतिबंध की मांग कर रहे हैं, उन्हें पिछले अनुभवों से सीखना चाहिए।’
दरअसल कांग्रेस अध्यक्ष खरगे ने शुक्रवार को सरदार वल्लभ भाई पटेल की जयंती के मौके पर दिल्ली में आयोजित एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में आरएसएस को फिर से प्रतिबंधित करने के सवाल पर कहा था, ‘यह मेरी निजी राय है, और मैं इसे खुले तौर पर कहूंगा, ऐसा होना चाहिए।’ उन्होंने आरोप लगाया था कि ज्यादातर कानून और व्यवस्था की समस्याएं भाजपा और आरएसएस की वजह से पैदा हो रही हैं।
