
पहाड़ का सच, देहरादून।

उत्तराखंड के युवा एक ओर तो बेरोजगारी की मार झेल ही रहे हैं। दूसरी ओर अपराधी गिरोह उनको लूटने में कसर नहीं छोड़ रहे हैं। करीब 1300 युवाओं से रोजगार और ट्रेनिंग के नाम पर ठगी के आरोप में बिहार में पंजीकृत संस्था लघु उद्योग विकास परिषद सिडको के खिलाफ देहरादून में केस दर्ज किया गया है। संस्था पर युवाओं से ₹6100 प्रति व्यक्ति की राशि वसूलने और सरकारी योजनाओं के प्रचार-प्रसार का झूठा दावा करने का आरोप है।
सिडको संस्था बिहार के पटना में पंजीकृत है और देहरादून के अजबपुर क्षेत्र में कार्यालय खोलकर युवाओं को जोड़ने का काम कर रही थी। जांच में सामने आया कि संस्था प्रत्येक नए सदस्य को अन्य सदस्य को जोड़ने पर ₹400 देने का लालच दे रही थी। हालांकि संस्था के दस्तावेजों में प्रशिक्षण देने या मानदेय से संबंधित कोई भी प्रावधान दर्ज नहीं है।
शिकायत मिलने पर पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए संस्था के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता की धारा 318(4)/61(2) के तहत एफआईआर संख्या 231/25 दर्ज की। कार्यालय से दस्तावेजों और इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों को जब्त किया गया है। संस्था के सभी बैंक खातों के साथ-साथ एकाउंटेंट के खाते भी फ्रीज़ कर दिए गए हैं। जिन अन्य खातों में संस्था की ओर से अधिकतर लेन-देन हुआ है, उन्हें भी चिन्हित कर सीज किया जा रहा है।
जांच में सामने आया कि संस्था का पूरा ढांचा संदेहास्पद है और उसका मकसद सिर्फ बेरोजगार युवाओं से पैसे वसूलना था। सरकार की योजनाओं की आड़ में इस तरह की धोखाधड़ी करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई जारी है।
