पहाड़ का सच/एजेंसी
नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट से झटका मिलने के बाद अब अरविंद केजरीवाल राउज एवेन्यू कोर्ट पहुंचे। दिल्ली शराब घोटाला केस में उन्होंने रेगुलर और अंतरिम जमानत दोनों याचिका दायर की है। राउज एवेन्यू कोर्ट में गुरुवार को 2 बजे सुनवाई हुई। इडी ने अरविंद केजरीवाल की याचिका का विरोध किया। ईडी ने कहा कि अगर उनकी सेहत खराब है तो फिर वह इतने जोर-शोर से चुनाव प्रचार क्यों कर रहे थे। आबकारी नीति घोटाला केस में गिरफ्तार होने के बाद अरविंद केजरीवाल ने पहली बार नियमित जमानत की अर्जी लगाई है। अभी वह अंतरिम जमानत पर 1 जून तक जेल से बाहर हैं।
ईडी की तरफ से एएसजी एसवी राजू ने अरविंद केजरीवाल की याचिका पर जवाब दिया। उन्होंने कहा कि मुझे अभी-अभी एक कॉपी मिली है। मुझे जवाब दाखिल करने के लिए समय चाहिए। उन्होंने कहा कि अरविंद केजरीवाल पंजाब में चुनाव प्रचार कर रहे हैं। ईडी ने सवाल किया कि क्या उनका स्वास्थ्य उन्हें चुनाव प्रचार करने से नहीं रोक रहा? उन्होंने बहुत जोर-शोर से अपनी पार्टी का प्रचार किया है, और अब अंतिम समय में जमानत याचिका दायर की जा रही है। उनके आचरण के कारण उन्हें जमानत नहीं मिलनी चाहिए।
ईडी की तरफ से पेश वकील एसवी राजू ने कहा कि अरविंद केजरीवाल हर जगह चुनाव प्रचार कर रहे हैं। कई जगहों पर जाकर वो रैली को सम्बोधित कर रहे हैं. ईडी ने कहा कि हम अरविंद केजरीवाल की रेगुलर और अंतरिम जमानत पर अपना जवाब दाखिल करेंगे। इसके बाद राउज एवेन्यू कोर्ट ने अरविंद केजरीवाल की रेगुलर और अंतरिम जमानत याचिका पर ईडी को नोटिस जारी किया। 1 जून को राउज एवन्यू कोर्ट मामले की अगली सुनवाई करेगा। बता दें कि अरविंद केजरीवाल ने राउज एवेन्यू कोर्ट में 2 अलग-अलग जमानत याचिकाएं दाखिल की हैं। एक रेगुलर बेल की है तो दूसरी अतंरिम जमानत की।
दरअसल, अरविंद केजरीवाल को एक दिन पहले ही सुप्रीम कोर्ट से झटका लगा था। शीर्ष अदालत ने अंतरिम जमानत 7 दिन बढ़ाने की मांग खारिज कर दी थी। अरविंद केजरीवाल ने अपनी याचिका को तुरंत सूचीबद्ध करने की गुहार लगाई थी। मगर सुप्रीम कोर्ट ने मांग खारिज कर दी थी और निचली अदालत का दरवाजा खटखटाने का आदेश दिया था। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के मुताबिक, आम आदमी पार्टी के संयोजक को 2 जून को सरेंडर करना होगा।
सुप्रीम कोर्ट की रजिस्ट्री ने याचिका स्वीकार करने से इनकार करते हुए कहा था कि चूंकि अरविंद केजरीवाल को नियमित जमानत के लिए निचली अदालत जाने की छूट दी गई है तो यह याचिका सुनवाई योग्य नहीं है। जस्टिस जे के माहेश्वरी और जस्टिस के वी विश्वनाथन की वकेशन बेंच ने मंगलवार को मुख्यमंत्री की ओर से पेश हुए वरिष्ठ अधिवक्ता अभिषेक सिंघवी की दलीलों पर संज्ञान लिया। कहा था कि अंतरिम याचिका को सुनवाई के लिए सूचीबद्ध करने पर सीजेआई फैसला ले सकते हैं क्योंकि मुख्य मामले में फैसला सुरक्षित है।