– प्रदेश से बाहर के बुजुर्गों को भी मिलेगी कैशलेस इलाज की सुविधा: डा. धन सिंह रावत
पहाड़ का सच देहरादून। आयुष्मान भारत योजना में 70 साल से अधिक उम्र के बुजुर्गों को पांच लाख तक कैशलेस इलाज की सुविधा देने के लिए आयुष्मान कार्ड बनाने के लिए राशन कार्ड की अनिवार्यता समाप्त कर दी गई है। अब आधार कार्ड के आधार पर बुजुर्गों के कैशलैस कार्ड बनाए जाएंगे। राज्य के स्वास्थ्य मंत्री डॉक्टर धन सिंह रावत ने कहा कि इस योजना के शुरू होने से प्रदेश में रहने वाले बाहरी राज्यों के बुजुर्गों को सूचीबद्ध अस्पतालों में कैशलेस इलाज की सुविधा मिलेगी, जो अभी तक योजना के दायरे में नहीं है।
स्वास्थ्य मंत्री ने बताया कि राज्य स्वास्थ्य प्राधिकरण ने 70 साल से अधिक आयु के बुजुर्गों के आयुष्मान कार्ड बनाने के लिए तैयारियां शुरू कर दी। केंद्र सरकार ने 2018 में आयुष्मान भारत योजना शुरू की थी। इसमें गरीब परिवारों को पांच लाख तक कैशलेस इलाज की सुविधा दी गई। केंद्रीय योजना में उत्तराखंड के 5.37 लाख परिवार शामिल थे।
हालांकि, 2019 में प्रदेश सरकार ने राज्य के सभी 23 लाख राशन कार्डधारकों के लिए कैशलेस इलाज की सौगात दी । इनके इलाज पर आने वाला खर्चा राज्य सरकार को उठाती है। केंद्र सरकार ने आयुष्मान भारत योजना का दायरा बढ़ाकर 70 वर्ष से अधिक उम्र के
बुजुर्गों को पांच लाख तक कैशलेस इलाज की सुविधा दी है। इससे प्रदेश सरकार को बुजुर्गों के इलाज का खर्चा नहीं उठाना पड़ेगा। .उन्होंने कहा कि राज्य के निवासी बुजुर्गों के अलावा राज्य में रहने वाले बाहरी राज्यों के बुजुर्गों को भी कैशलेस इलाज की सुविधा मिलेगी।प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में सरकार ने बुजुर्गों को कैशलेस इलाज की बढ़ी सौगात दी है। प्रदेश में यह सुविधा पहले से बुजुर्गों को मिल रही है। प्रदेश सरकार की ओर से संचालित राज्य आयुष्मान योजना के दायरे से बाहर बुजुर्गों का आधार नंबर से आयुष्मान कार्ड बनाए जाएंगे। इनकी संख्या के बारे में बाद में ब्योरा सामने आएगा।