पहाड़ का सच देहरादून
अब प्रदेश में सड़क सुविधा से वंचित दूरस्त गांव की गर्भवती महिलाओं को प्रसव के समय परेशानियों का सामना नहीं करना पड़ेगा। स्वास्थ्य विभाग ने गर्भवती महिलाओं को सड़क तक पहुंचाने के लिए 250 डंडी-कंडी खरीदने का निर्णय लिया है। वर्तमान में विभाग के माध्यम से पर्वतीय क्षेत्रों में तीन हजार डंडी-कंडी संचालित की जाएगी। विभाग की ओर से डंडी-कंडी उठाने वालों को प्रति व्यक्ति 400 रुपये दिए जा रहे हैं।
प्रदेश के कई छोटे-छोटे गांव मुख्य सड़क मार्ग से नहीं जुड़े हैं। ऐसे में गर्भवती महिलाओं को स्वास्थ्य विभाग की ओर से डंडी-कंडी की व्यवस्था की गई है। जिसका जिम्मा ग्राम पंचायतों को दिया गया है। आशा कार्यकर्ताओं से गांव-गांव में गर्भवती महिलाओं की लगातार माॉनिटरिंग की जाएगी। गर्भवती महिलाओं को संस्थागत प्रसव में सुधार करने के लिए प्रोत्साहन दिया जा रहा है। संभावित प्रसव तिथि से पहले संस्थागत डिलीवरी के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा, जिससे प्रसव के दौरान होने वाली मातृ मृत्यु दर को कम किया जा सके।
गर्भवती महिलाओं की स्वास्थ्य और सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए उत्तराखण्ड सरकार की यह पहल स्वागत योग्य है। इससे गरीबी और असुविधा में रह रही गर्भवती महिलाओं को बड़ी सहायता मिलेगी और प्रसव के समय सुरक्षित वातावरण में जन्म देने का अवसर मिलेगा।