
– सांसद बलूनी ने कहा, वे बिहार चुनाव में व्यस्त थे

– कांग्रेस ने कहा, भाजपा की गुटीय जंग का नतीजा
देहरादून। डोईवाला के भाजपा विधायक बृजभूषण गैरोला के बाद राज्यसभा सांसद अनिल बलूनी के राज्य स्थापना दिवस पर पीएम मोदी के कार्यक्रम में नजर नहीं आने को लेकर चर्चाओं का बाजार गर्म है। कांग्रेस ने पौड़ी सांसद बलूनी के एफआरआई के समारोह से गैरमौजूदगी पर सवाल उठाते हुए इस अंदरूनी जंग करार दिया।
एक बातचीत में सांसद बलूनी ने कहा कि वे पार्टी के प्रति अपने कर्तव्य का पालन कर रहे हैं और बिहार चुनाव में उनकी ड्यूटी लगी थी। इस वजह से दून के रजत जयंती समारोह में शामिल नहीं हो पाए।
रविवार को देहरादून में आयोजित उत्तराखंड राज्य स्थापना दिवस के रजत जयंती उत्सव में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ,राज्यपाल गुरमीत सिंह, मुख्यमंत्री धामी, केंद्रीय मंत्री अजय टम्टा, प्रदेश के मंत्री, व संगठन के नेता मौजूद रहे।
कार्यक्रम सम्पन्न हुए दो दिन बीत गए और पौड़ी गढ़वाल के सांसद अनिल बलूनी को लेकर राजनीतिक गलियारों में चर्चाएं जारी है। हालांकि, बलूनी के व्हाट्सएप्प न्यूज ग्रुप में रविवार को राज्य स्थापना दिवस पर बधाई संदेश अवश्य वायरल हुआ।
उधर, कांग्रेस ने चुटकियां लेते हुए इसे दुर्भाग्यपूर्ण करार दिया। पार्टी के उपाध्यक्ष सूर्यकांत धस्माना ने कहा कि इससे पूर्व, ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट, 38वें राष्ट्रीय खेल, प्रदेश सरकार के तीन साल पूरे होने पर आयोजित कार्यक्रमों से भी अनिल बलूनी ने दूरी बनाए रखी। इससे भाजपा के झगड़े का साफ पता चलता है। कांग्रेस नेता ने कहा कि भाजपा की अंदरूनी जंग चरम पर पहुंच गई है।
इस मुद्दे पर सांसद बलूनी ने कहा कि वे बिहार चुनाव में व्यस्त रहे। उनकी ड्यूटी लगी थी। पार्टी नेता स्मृति ईरानी के साथ गोलगप्पे का आनन्द भी लिया। बलूनी ने कहा कि वे उस दिन पूर्णिया में मौजूद थे। वे पार्टी के आदेश का पालन करते रहे हैं। इसलिए रजत जयंती समारोह में शिरकत नहीं कर पाए।
बहरहाल, राज्य स्थापना दिवस पर सांसद बलूनी के नहीं दिखने पर भाजपा के अंदर भी सुगबुगाहट तेज है। दबी जुबान से कई कारण भी गिनाए जा रहे हैं।
नौ नवंबर को सांसद बलूनी का संदेश
विकसित, आत्मनिर्भर और समृद्ध उत्तराखंड हमारा संकल्प : अनिल बलूनी
संस्कृति, परंपरा और प्रकृति में बस्ती है उत्तराखंड की आत्मा: सांसद अनिल बलूनी
गढ़वाल लोकसभा सांसद एवं भाजपा के राष्ट्रीय मीडिया प्रमुख अनिल बलूनी ने उत्तराखंड राज्य स्थापना दिवस के अवसर पर समस्त प्रदेशवासियों को हार्दिक शुभकामनाएँ प्रेषित की।
उन्होंने कहा कि आज का दिन उत्तराखंड के गौरवशाली इतिहास, संघर्षशील जनआंदोलन और हमारे आंदोलनकारियों के अदम्य साहस को नमन करने का दिन है। उन असंख्य वीरों, माताओं-बहनों और युवाओं के बलिदान के कारण ही आज हम देवभूमि उत्तराखंड के स्वतंत्र अस्तित्व का उत्सव मना रहे हैं।
बलूनी ने कहा कि उत्तराखंड की आत्मा उसकी संस्कृति, परंपरा और प्रकृति में बसती है। यह भूमि जहाँ एक ओर हिमालय की पवित्रता और गंगा-यमुना की निर्मलता का प्रतीक है, वहीं दूसरी ओर देश की सीमाओं की प्रहरी के रूप में भी कार्य करती है।
उन्होंने कहा कि यशस्वी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में आज उत्तराखंड विकास की नई ऊँचाइयों की ओर अग्रसर है। चारधाम ऑलवेदर रोड, रेल संपर्क, सीमांत क्षेत्रों का पुनर्निर्माण, पर्यटन, स्वास्थ्य, शिक्षा और रोजगार के क्षेत्र में हो रहा अभूतपूर्व परिवर्तन प्रदेश के उज्जवल भविष्य का परिचायक है।
बलूनी ने कहा कि हमारा लक्ष्य है एक ऐसा विकसित, आत्मनिर्भर और समृद्ध उत्तराखंड बनाना जो अपनी संस्कृति पर गर्व करे, युवाओं को अवसर दे, सीमांत क्षेत्रों को सशक्त बनाए और हर परिवार तक विकास की रोशनी पहुँचाए।
अंत में उन्होंने प्रदेशवासियों से आह्वान किया कि राज्य आंदोलन की भावना को जीवित रखते हुए हम सब मिलकर उस उत्तराखंड का निर्माण करें, जिसका सपना हमारे पूर्वजों ने देखा था, जहाँ संघर्ष की भावना, संस्कृति का गौरव और विकास का संकल्प साथ-साथ चले।
