
– अध्यक्ष पद के लिए एक मात्र नामांकन किया रास सदस्य महेंद्र भट्ट ने

– भाजपा प्रदेश अध्यक्ष चुनाव एवं राष्ट्रीय परिषद में नामांकन की प्रक्रिया संपन्न, राष्ट्रीय परिषद के लिए 8 सदस्यों का हुआ नामांकन
पहाड़ का सच देहरादून।
उत्तराखंड भाजपा में प्रदेश अध्यक्ष बनने की दौड़ में शामिल कई दावेदारों की हसरत अधूरी ही रह गई। पार्टी हाईकमान ने एक बार फिर राज्य सभा सांसद महेंद्र भट्ट को पसंद किया है।
भट्ट की दोबारा ताजपोशी को सरकार व संगठन के बीच बेहतर तालमेल के लिए ब्रिज के रूप में भी देखा जा रहा है। भट्ट के निवर्तमान कार्यकाल में प्रेम अग्रवाल के अलावा ऐसा कोई भी वाकया सामने नहीं आया जिससे सरकार व संगठन के बीच किसी प्रकार के विवाद की स्थिति पैदा हुई हो। चूंकि राज्य में वर्तमान में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव के अलावा साल 2027 में विधानसभा चुनाव भी होने हैं। 70 टिकटों को बंटवारा होना है। सत्ता हासिल करने के लिए मनमाफिक और संतुलन कायम करने वाले चेहरों का चयन होना है और ये तभी संभव है जब सरकार व संगठन में बेहतर तालमेल हो। महेंद्र भट्ट इस कसौटी पर पहले ही खरे उतर चुके हैं।
भट्ट ने सोमवार को सीएम धामी व अन्य पार्टी नेताओं की मौजूदगी में अध्यक्ष पद पर नामांकन भरा। कोई बड़ा भारी फेरबदल नहीं हुआ तो महेंद्र भट्ट ही 2027 के विधानसभा चुनावों में संगठन की कमान संभालते नजर आएंगे। हालांकि, पार्टी के अंदर एक गुट कुमाऊं से बलवंत भौर्याल का नाम आगे कर रहा था। इधऱ, संगठन में अहम जिम्मेदारी संभाल रहे गढ़वाल से आदित्य कोठारी को भी महेंद्र भट्ट की काट के तौर ओर आगे किया गया। लेकिन बाजी महेंद्र भट्ट के ही हाथ लगी।
हालांकि, भट्ट की विधानसभा सीट रही बद्रीनाथ में भाजपा उपचुनाव हार गई थी। इस सीट पर कांग्रेस के लखपत बुटोला ने राजेन्द्र सिंह भंडारी को हराया। इस हार के बाद संगठन अध्यक्ष महेंद्र भट्ट कुछ कमजोर नजर आने लगे थे। इधऱ, 2027 के विधानसभा चुनाव को देखते हुए पार्टी के अन्य नेता अपने गुट के दावेदार को अध्यक्ष बनाने की कोशिश में जुटे थे। भट्ट के आज के इकलौते नामांकन के बाद अन्य क्षत्रपों को झटका लगा है।
पार्टी सूत्रों का कहना है कि सीएम पुष्कर सिंह धामी ने क्षेत्रीय व जातिगत संतुलन के मद्देनजर हाईकमान के समक्ष राज्यसभा सदस्य महेंद्र भट्ट को रिपीट करने का फार्मूला रखा।
सीएम की पसंद पर मुहर लगाकर हाईकमान ने 2027 के चुनाव के लिए नई टीम के गठन की दिशा में भी कदम बढ़ा दिए। उधर, नामांकन से एक दिन पूर्व अध्यक्ष महेंद्र भट्ट ने यह बयान देकर सभी को चौंका दिया कि सीएम धामी सत्ता में बने रहने का पूर्व कांग्रेसी सीएम नारायण दत्त तिवारी का रिकार्ड तोड़ेंगे।
भट्ट के इस बयान के पार्टी के अंदर कई मायने निकाले जा रहे हैं। बहरहाल, हाईकमान ने उत्तराखण्ड भाजपा की बागडोर एक बार फिर महेंद्र भट्ट को सौंप चुनावी समीकरण भी साफ कर दिए हैं
. चुनाव प्रक्रिया
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष चुनाव एवं राष्ट्रीय परिषद में नामांकन की प्रक्रिया सोमवार को संपन्न हो गई है जिसमें राज्यसभा सांसद महेंद्र भट्ट ने अध्यक्ष पद के लिए नामांकन किया, जिसके प्रस्ताव मुख्यमंत्री पुष्कर धामी समेत पूर्व मुख्यमंत्री और सभी सांसदों द्वारा किया गया।मंगलवार को होने वाली प्रांतीय बैठक में केंद्रीय पर्यवेक्षक की मौजूदगी में सभी नामों का ओपचारिक अनुमोदन किया जायेगा।
प्रदेश चुनाव अधिकारी खजान दास ने बताया कि संगठन की पूर्व निर्धारित अधिसूचना के अनुसार आज पार्टी मुख्यालय में प्रदेश अध्यक्ष के लिए महेंद्र भट्ट एवं 8 राष्ट्रीय परिषद सदस्यों के लिए नामांकन प्रक्रिया सम्पन्न की गयी। जिसमें सुबह 10 से 12 बजे तक नामांकन का समय निर्धारित था, जिसमें अध्यक्ष के लिए महेंद्र भट्ट द्वारा एकमात्र उम्मीदवार के रूप में फार्म दाखिल किया।
इस दौरान 5 सेटों में दाखिल उनके नामांकन पत्र में 10 अलग अलग प्रस्तावकों ने हस्ताक्षर किए। जिसमें सभी सेटों के मुख्य प्रस्तावक मुख्यमंत्री पुष्कर धामी, पूर्व मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत, राष्ट्रीय मीडिया प्रभारी एवं गढ़वाल लोकसभा सांसद अनिल बलूनी, अल्मोड़ा सांसद अजय भट्ट, केंद्रीय मंत्री अजय टम्टा शामिल हुए।
इसके अतिरिक्त अन्य प्रस्तावक के रूप में प्रदेश महामंत्री संगठन अजेय कुमार, पूर्व सीएम डाक्टर रमेश पोखरियाल निशंक, राज्यसभा सांसद नरेश बंसल, कल्पना सैनी, टिहरी लोकसभा सांसद श्रीमती महारानी माला राज्यलक्ष्मी शाह, प्रदेश सरकार में कैबिनेट मंत्री सतपाल महाराज, गणेश जोशी, सुबोध उनियाल, पूर्व प्रदेश अध्यक्ष एवं विधायक विशन सिंह चुफाल, विधायक विनोद चमोली, उमेश शर्मा काऊ, विनोद कंडारी, राम सिंह कैड़ा, महंत दिलीप सिंह रावत, बृजभूषण गैरोला रहे।
उन्होंने बताया कि आज महेंद्र भट्ट का एकमात्र नाम प्रदेश अध्यक्ष के लिए सामने आया है। जिसकी कल प्रांतीय परिषद की बैठक में केंद्रीय पर्यवेक्षक केन्द्रीय मंत्री हर्ष मल्होत्रा द्वारा औपचारिक घोषणा की जाएगी। उपस्थित प्रांतीय सदस्यों द्वारा प्रदेशाध्यक्ष के नाम का अनुमोदन किया जाएगा।
इसमें अतिरिक्त राष्ट्रीय परिषद सदस्य के लिए कैबिनेट मंत्री डॉक्टर धन सिंह रावत, केंद्रीय मंत्री अजय टम्टा, पूर्व सीएम डॉ रमेश पोखरियाल” निशंक “ त्रिवेंद्र सिंह रावत, तीरथ सिंह रावत, अजय भट्ट श्रीमती माला राज्य लक्ष्मी शाह डॉक्टर कल्पना सैनी का नामांकन हुआ।
इस पूरी संगठन चुनाव प्रक्रिया के दौरान, सह चुनाव अधिकारी पुष्कर काला, श्रीमती मीरा रतूड़ी, राकेश गिरी के साथ सरकार में दायित्वधारी ज्योति गैरोला, सुभाष बड़थ्वाल, कुलदीप कुमार, मुकेश कोली, कौस्तुभा नंद जोशी, मनवीर सिंह चौहान प्रमुख समेत बड़ी संख्या में पार्टी पदाधिकारी एवं वरिष्ठ कार्यकर्ता मौजूद रहे।
