पहाड़ का सच, देहरादून।
ऊर्जा निगम शीतकाल में मुख्य तीर्थाटन एवं पर्यटन स्थलों में बेहतर बिजली की सुविधा प्रदान करेगा। .निगम के प्रबंध निदेशक अनिल कुमार ने कहा कि मसूरी, औली, लैंसडाउन, जोशीमठ, धनौल्टी, ऋषिकेश, हरिद्वार, चमोली, चकराता, राजाजी नेशनल पार्क, टिहर देवप्रयाग, चंबा, हर्षिल आदि के साथ-साथ चारों धामों के शीतकालीन पूजा स्थलों में सुचारू विद्युत आपूर्ति सुनिश्चि करने के लिए सभी क्षेत्रीय इकाईयों को आवश्यक दिशा निर्देश निर्गत किये गये।
उन्होंने कहा कि प्रबन्ध निदेशक द्वारा अवगत कराया गया है कि उत्तराखण्ड राज्य में शीतकाल में मुख्य तीर्थाटन एवं पर्यटन स्थलों पर देश-विदेश से पर्यटकों/यात्रियों का आवागम होने से राज्य के पर्यटन क्षेत्र को बढ़ावा मिलता है तथा रोजगार सृजन होता है जिसके दृष्टिगत यूपीसीएल सभी पर्यटक को विद्युत सम्बन्धी किसी भी प्रकार की समस्या का सामना न करना पड़े हेतु पर्यटन स्थलों से सम्बन्धित सभी उपसंस्थान एचटी/एलटी लाइनों तथा स्ट्रीट लाईटों की स्थिति का नित्य प्रतिदिन अनुश्रवण किया जा रहा है।
एमडी ने कहा कि आकस्मिक स्थिति के लिए सभी स्थलों में सामग्री जैसे कन्डक्टर, केबिल, पोल, ट्रांसफार्मर की व्यवस्था भी सुनिश्चित की जा रही जिससे विद्युत व्यवधान होने पर न्यूनतम समय अवधि में विद्युत आपूर्ति सुचारू की जा सके। सभी अधीक्षण अभियन्ताओं / अधिशासी अभियन्ताओं को अपने क्षेत्रान्तर्गत आने वाले 33/11 केवी उपसंस्थानों एवं उनसे निकलन वाले 11 केवी फीडरों का निरीक्षण करने तथा हाई अलर्ट मोड में उपस्थित होने हेतु भी निर्देशित किया गया है।
इसके अतिरिक्त बेहतर विद्युत आपूर्ति के लिए लाइनों के बीच में आ रहे पेड़ों एवं टहनियों की लोपिंग चोपिंग समय से कराना तथ समस्त ट्राली परिवर्तकों की उपलब्धता कार्यशील स्थिति में है एवं किसी भी आकस्मिकता के लिये उपलब्ध हैं सुनिश्चि किये जाने के लिए भी निर्देशित किया गया है।