– अल्मोड़ा, नैनीताल में भी देखा डीएम बसंल का कार्य, जनमानस के कार्यों में रहते हैं तत्परः डा.धन सिंह रावत
– जिला को भिक्षावृत्ति से मुक्त करना जनपद के लिए होगा उपकारः मंत्री
– ब्लॉक स्तर से ही शिक्षा व्यवस्था में सुधार लाने हेतु, बीईओ को दिए सख्त निर्देश
– चिकित्सालयों में प्रतिदिन बदली जाएगी बैड सीट, प्रत्येक दिन के लिए रखें अलग कलर कोडः मंत्री
पहाड़ का सच देहरादून। शिक्षा व स्वास्थ्य मंत्री डॉ धन सिह रावत ने देहरादून के कलेक्ट्रेट स्थित ऋषिपर्णा सभागार में स्वास्थ्य एवं शिक्षा विभाग की समीक्षा बैठक करते हुए आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। उन्होंने जिलाधिकारी सविन बंसल के कार्यों की सराहना की।
डा.रावत ने कहा कि डीएम बंसल ने जनपद के स्कूलों के आधुनिकिकरण, स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार तथा भिक्षावृत्ति की रोकथाम हेतु सराहनीय प्रयास किए हैं। उन्होनें बंसल का काम अल्मोड़ा, नैनीताल देखा है। मंत्री ने जिलाधिकारी द्वारा जिले में स्वास्थ्य के क्षेत्र में किये जा रहे कार्यों की बिन्दुवार, बल्ड बैंक, अतिरिक्त औषधि काउंटर बढाने, बैरा रूम, उपकरण आदि की समीक्षा करते हुए कार्य व्यवस्था में सुधार लाने हेतु जिलाधिकारी का बेहतर कार्य बताया।
डॉक्टर धन सिंह रावत ने जिलाधिकारी द्वारा जनपद को भिक्षावृत्ति से मुक्त करने के लिए चलाए जा रहे अभियान के माईक्रो प्लानिंग की गहनता से जानकारी लेते हुए कहा कि यह एक अभिनव पहल है। इससे देहरादून को भिक्षावृत्ति से मुक्त करना एक उपकार होगा। इस प्लान को कैबिनेट में लाया जाएगा तथा अन्य जनपदों में मॉडल के रूप में कार्य किया।
उन्होंने जनपद में शिक्षा में किये जा रहे कार्यों की जानकारी लेते हुए जिलाधिकारी द्वारा जनपद में चलाए जा रहे प्रोेजेक्ट उत्कर्ष को सराहनीय पहल बताते हुए बच्चों को आधुनिक सुविधा के माध्यम से बच्चों के सर्वागीण विकास एवं खेल अवस्थापना की सुविधा बढाते हुए सम्बन्धितों को कार्य करने के निर्देश दिए। कहा कि जिलाधिकारी द्वारा जनपद के समस्त विद्यालय के बच्चों को प्रोजेक्ट उत्कर्ष के तहत् आधुनिक शैक्षणिक प्रणाली से जोड़ना एक बेहतरीन कार्य है। यहां बच्चों को कक्षाओं में स्वेत बोर्ड, एलईडी बल्ब, फर्नीचर, सहित अन्य आधुनिक उपकरण एवं क्रियात्मक क्रियाक्लाप के लिए पर्यावरण उपलब्ध कराने की योजना अत्यंत आवश्यक थी। माननीय मंत्री ने निर्देश दिए कि कोई भी विद्यालय मूलभूति सुविधा बिजली, पानी, शौचालय विहीन न रहे यह सुनिश्चित कर लिया जाए।
मंत्री ने स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि ईजाबाई योजना का प्रचार-प्रसार करें ताकि धनराशि वापस न जाए। उन्होंने निर्देशित किया चिकित्सालयों में बेडसीट का प्रत्येक दिन कलर कोड रखा जाए तथा प्रत्येक दिन बैड सीट बदली जाए। उन्होंने कहा कि चिकित्सालयों में स्टाफ की कमी नही रहेगी जल्द ही चिकित्सालयों चिकित्सक एवं स्टॉफ के शत् प्रतिशत् पद भर लिए जाएंगे। उन्होंने उप चिकित्सालयों में चिकित्सकों हेतु आवास बनाने के निर्देश दिए, इसके लिए धनराशि डिमांड करने को भी निर्देशित किया। उन्होंने कहा कि चिकित्सालयों में एम्बुलेंस की कमी पर उन्होंने प्रस्ताव प्रस्तुत करने के निर्देश दिए। चिकित्सालयों में बायोमैट्रिक उपस्थिति लगाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि जिला चिकित्सालय को एसएनसीयू को जल्द ही एक ओर बाल रोग विशेषज्ञ चिकित्सक मिल जाएगा।
बैठक में महानिदेशक शिक्षा झरना कमठान, मुख्य विकास अधिकारी अभिनव शाह, महानिदेशक स्वास्थ्य डॉ तारा आर्य, उप जिलाधिकारी हरि गिरि, उप जिलाधिकारी शालिनी नेगी, मुख्य स्वास्थ्य अधिकारी डॉ संजय जैन, मुख्य शिक्षा अधिकारी प्रदीप रावत, जिला प्रोबेशन अधिकारी मीना बिष्ट सहित स्वास्थ्य एवं शिक्षा विभाग के अधिकारी उपस्थित रहे।